जब-जब बारिश होती हैं,


जब-जब बारिश होती हैं,
तो एक चाहत होती है..

कि तू,
सामने मेरे बैठा रहे,

बारिश की बूॅंदों-सी ये ऑंखें,
सहमी रहे कुछ भींगी-भींगी रहे,

हवाओं के स्पर्श से,
ये लव कुछ..
रुखे-सूखे रहे,

आगोश में ये दुनिया,
बस मेरे यूं ही सिमटी रहे,

ये कम्बख्त बारिश जब-जब होती है,
तो चाहत जगती है एक,
कि तू मेरे सबसे करीब रहे🙈🙈

                            

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